दिल्ली में केदारनाथ नाम से मंदिर (Delhi Kedar Mandir) निर्माण पर रार थमने का नाम नहीं ले रही है। उत्तराखंड के चारधाम से जुड़े तीर्थ पुरोहितों ने मंगलवार को जबरदस्त प्रदर्शन कर नाराजगी जाहिर की। चारधाम महापंचायत और चारों धाम से जुड़े पुरोहितों ने साफ कर दिया है कि अगर दिल्ली में केदार नाम से मंदिर निर्माण हुआ तो विरोध के सुर और तेज हो जाएंगे।
उत्तराखंड चार धाम तीर्थ पुरोहित महापंचायत के आवाहन पर उत्तराखंड स्थित चारों धाम बदरीनाथ, केदारनाथ गंगोत्री और यमुनोत्री के अलावा देवप्रयाग और मां यमुना की शीतकालीन पूजा स्थल खरशाली में विरोध प्रदर्शन किया गया।
चारधाम से जुड़े पुरोहित और पंडा समाज ने एक स्वर में कहा कि केदारनाथ मंदिर की प्रतीकात्मक स्थापना नहीं होने दी जाएगी। यह भी मांग की गई कि इसके चार धामों के नाम पर यदि कहीं मंदिर स्थापित किया गया है या इस तरह का प्रयास किया जा रहा है तो उस पर कार्यवाही की जाए।
उत्तराखंड चार धाम तीर्थ पुरोहित पुरोहित महापंचायत के अध्यक्ष सुरेश सेमवाल ने कहा कि इस समय सभी को एकजुट होकर इस लड़ाई को लड़ना होगा। साथ ही उन्होंने इस आंदोलन में शामिल तीर्थ पुरोहितों का आभार भी जताया। सुरेश सेमवाल ने कहा कि कहा जिस एकता के साथ केदारनाथ धाम ट्रस्ट द्वारा बनाए जा रहे मंदिर का विरोध किया जा रहा है वो हमारी एकता को प्रदर्शित करता है। भविष्य में भी सभी तीर्थ पुरोहित, पंडा समाज और पुजारी लोग इसी तरह एकता बनाए रखेंगे।
उत्तराखंड चार धाम तीर्थ महापंचायत के आह्वान पर यमुनोत्री धाम, गंगोत्री धाम, बदरीनाथ और केदारनाथ में विरोध प्रदर्शन किया गया। इसके अलावा मां यमुनोत्री के शीतकालीन पूजा स्थल खरसाली और देवप्रयाग पंडा पुरोहितों के निवास स्थान देवप्रयाग में भी विरोध किया गया।