रानीखेत न्यूज: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सोमवार को रानीखेत के दौरे पर रहे। इस दौरान सीएम धामी ने कहा कि स्वतंत्रता आंदोलन में कुमाऊं की बारदोली खुमाड़ की क्रांति को कभी भुलाया नहीं जा सकता। सल्ट की इस धरा ने तमाम आजादी के दीवाने दिए। सीएम ने कहा कि सालम की तरह यहां के रणबांकुरों ने आजादी का जो बिगुल फूंका उसने कुमाऊं को ब्रितानी हुकूमत के खिलाफ एकजुट तो किया ही। इसे गोरों के विरुद्ध राष्ट्रीय आंदोलन भी बनाया। स्वतंत्रता संग्राम में सल्ट के रणबांकुरों का योगदन अतुलनीय है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भावी पीढ़ी स्वतंत्रता संग्राम के नायकों को और विरासतों को भूले नहीं। उन्होंने खुमाड़ स्थित स्मारक पर आज ही के दिन 1942 की क्रांति में सर्वस्व बलिदान करने वाले क्रांतिवीर हीरामणि बड़ोनी, हरिकृष्ण उप्रेती, गंगाराम, खीमाराम, चूड़ामणि, बहादुर सिंह, लक्ष्मण सिंह अधिकारी को नमन् किया और पुष्प भी अर्पित किए।
खुमाड़ की क्रांति की याद में बलिदान दिवस पर पहुंचे मुख्यमंत्री धामी ने जनसभा में कहा कि सल्ट वीरों की भूमि रही है। उन्होंने शिक्षक दिवस व खुमाड़ के बलिदान दिवस पर क्रांतिवीरों को याद किया। उन्होंने कहा कि खुमाड़ की क्रांति से प्रभावित होकर ही महात्मा गांधी ने इसे कुमाऊं की बारदोली की संज्ञा दी।
धामी ने सल्ट के पूर्व विधायक स्व. सुरेंद्र सिंह नेगी का भी स्मरण किया। कहा कि 2007 से लगातर विधायक रहे स्व सुरेंद्र जीना ने इस क्षेत्र के समेकित विकास में कोई कसर नहीं छोड़ी थी। सीएम ने कहा कि सल्ट क्षेत्र के लिए की गई घोषणाएं तेजी से धरातल पर आकार ले रही हैं।